मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा कि मेरे पिता हिमाचल पथ परिवहन निगम में चालक के पद पर कार्यरत थे और वह 40 साल पहले रिटायर हुए। मैं जानता हूं कि एचआरटीसी के कर्मचारी प्रदेश के दूर-दराज इलाकों में जाते हैं। आज एचआरटीसी को 50 साल पूरे हो गए हैं और हमारा लक्ष्य यही है कि अगले पचास साल में इसे कहां लेकर जाना है।
उन्होंने भाजपा पर निशाना साधा और कहा कि मुझे नहीं मालूम है कि उनकी सरकार ने एचआरटीसी को लेकर क्या काम किया है। मैं इतना ही कहूंगा कि पिछले 55 महीनों से एचआरटीसी के कर्मचारियों का नाइट और ओवर टाइम का जो भी पैसा फंसा हुआ था, उसे 31 मार्च 2025 तक दे दिया जाएगा। इसके अलावा 9 करोड़ के मेडिकल बिल आने वाले दो महीनों में क्लीयर किए जाएंगे। दिवाली से पहले यानि 28 अक्टूबर तक उनको सैलरी दे दी जाएगी।
उन्होंने जयराम ठाकुर पर भी तंज कसा। उन्होंने कहा, "वह खुद वित्त मंत्री रह चुके हैं और उन्हें पता होना चाहिए कि हमारा पेंशन और वेतन दो हजार करोड़ रुपए है। इसके बावजूद हमारी सरकार ने कर्मचारियों को 600 करोड़ रुपए एरियर और 600 करोड़ रुपए डीए भी दिया है। हमारी सरकार हर साल 700 करोड़ से अधिक की ग्रांट देती है। लेकिन, जयराम ठाकुर को अधिकारियों द्वारा जो भी लिखकर दे दिया जाता है, वह उसी के अनुसार ही बयान देते हैं।
सीएम सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा कि एचआरसीटी को 1500 से अधिक ग्रीन एनर्जी वाली बसें दी जाएंगी। इसके लिए सरकार ने 200 करोड़ रुपए का फंड भी रिलीज कर दिया है, जिससे 327 बसें खरीदी जाएंगी।
बता दें कि हिमाचल प्रदेश में 1974 में एचआरटीसी की शुरुआत की गई थी। एचआरटीसी को शनिवार को 50 साल पूरे हो गए हैं।
एफएम/एबीएम