शिवसेना नेता मनीषा कायंदे ने कहा कि महाराष्ट्र के जो रिजल्ट आए हैं, वो अभूतपूर्व हैं। जनता ने हमको भर-भर के मत दिए, इसके लिए हम बहुत ऋणी हैं। ये रिजल्ट हमें विनम्रता सिखाने वाला है। अब महाराष्ट्र के प्रति हमारी जिम्मेदारी दोगुनी और तीन गुनी हो गई है।
उन्होंने आगे कहा कि विपक्षी पार्टियां जो गलत नैरेटिव सेट करने की कोशिश कर रही थी, जाति-जाति में मतभेद करवा रहे थे। संविधान और आरक्षण को हटाने की बाते कर रहे थे। जनता ने ऐसी नकारात्मक बातों को नकार कर सिर्फ विकास की राजनीति करने वालों को वोट दिया।
उन्होंने आगे कहा कि हमने कप्तान एकनाथ शिंदे के नेतृत्व में चुनाव लड़ा है। सुपरहीरो और कॉमन मैन बनकर वो सामने आए हैं। देवेंद्र फडणवीस और अजित दादा ने भी बहुत अच्छा प्रदर्शन किया है। मुख्यमंत्री लाडली बहन योजना को भी श्रेय जाता है, जो गेम चेंजर साबित हुई। जनहित के लिए अनगिनत योजनाएं आई, जो सफलता में योगदान दी।
एक हैं तो सेफ हैं नारे को लेकर उन्होंने कहा कि महाविकास अघाड़ी ने इस नारे का बहुत गलत अर्थ निकालने और लोगों को गुमराह करने की कोशिश की। लोगों को ऐसा बताया गया कि यह नारा सिर्फ हिंदू-मुस्लिम को बांटने के लिए दिया गया है, लेकिन ऐसा नहीं था। इस नारे का मतलब था कि जितने भी अल्पसंख्यक हैं, अगर वो एक हैं तो सेफ हैं।
विपक्ष पर निशाना साधते हुए शिवसेना नेता ने कहा कि शिवसेना (यूबीटी) को विरोधी पक्ष को कोई मौका नहीं मिलने वाला है। महाराष्ट्र की जनता ने उनको विपक्ष में होने के काबिल भी नहीं समझा है।
मुख्यमंत्री चेहरे को लेकर पूछे गए सवाल पर उन्होंने कहा कि शिवसेना की तरफ से मैं इतना कहना चाहूंगी कि एकनाथ शिंदे के नेतृत्व में हम ये चुनाव लड़े, इसलिए हम चाहते हैं कि वो एक बार फिर से सीएम बने। लेकिन तीनों पार्टियों के वरिष्ठ नेता इस पर फैसला लेंगे।