बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने शोक व्यक्त करते हुए कहा कि बिहार कोकिला, पद्म श्री एवं पद्म भूषण से सम्मानित शारदा सिन्हा का निधन दुःखद है। वे मशहूर लोक गायिका थीं। उन्होंने मैथिली, बज्जिका, भोजपुरी के अलावा हिंदी गीत भी गाए। उन्होंने कई हिंदी फिल्मों में भी अपनी मधुर आवाज दी थी। उन्होंने कहा कि शारदा सिन्हा के छठ महापर्व पर सुरीली आवाज में गाए मधुर गाने बिहार और उत्तर प्रदेश समेत देश के सभी भागों में गूंजा करते हैं। उनके निधन से संगीत के क्षेत्र में अपूरणीय क्षति हुई है। उन्होंने आगे कहा कि उनकी आत्मा की चिर शांति तथा उनके परिजनों एवं प्रशंसकों को दुःख की इस घड़ी में धैर्य धारण करने की शक्ति प्रदान करने की ईश्वर से प्रार्थना है।
इधर, बिहार के उप मुख्यमंत्री सम्राट चौधरी ने शारदा सिन्हा के निधन पर दुख प्रकट करते हुए कहा कि शारदा सिन्हा का निधन न केवल बिहार बल्कि पूरे देश की संगीत और लोक संस्कृति के लिए एक अपूरणीय क्षति है। उनकी मधुर आवाज और लोकगीतों ने हमारे लोक संगीत को एक नई पहचान दिलाई। बिहार की लोक संस्कृति को राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर सम्मान दिलाने में उनका योगदान हमेशा स्मरणीय रहेगा।
उपमुख्यमंत्री चौधरी ने कहा, "शारदा जी ने अपने संगीत से हमें और हमारी संस्कृति को जो गौरव प्रदान किया, वह सदैव हमारे दिलों में जीवित रहेगा। उनके निधन से संगीत जगत में जो शून्यता उत्पन्न हुई है, उसे भर पाना असंभव है। मेरी संवेदनाएं उनके परिवार और उनके प्रशंसकों के साथ हैं। भगवान उनकी आत्मा को शांति प्रदान करें।"
उप मुख्यमंत्री विजय कुमार सिन्हा ने स्वर कोकिला निधन पर कहा कि बिहार की सांस्कृतिक नायिका तथा बिहार की 'स्वर कोकिला' बहन शारदा सिन्हा का जाना बिहार की लोक संस्कृति एवं विरासत के लिए अपूरणीय क्षति है। छठ का महापर्व बिना उनके गाए गीतों के अधूरा लगता है। पूरा बिहार शोक की इस घड़ी में उनके परिवार के साथ खड़ा है।
भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष दिलीप जायसवाल ने शारदा सिन्हा के निधन पर शोक संवेदना प्रकट करते हुए कहा कि शारदा सिन्हा का जाना, बिहार के लोक संगीत और संस्कृति के लिए अपूरणीय क्षति है। उन्होंने अपनी अद्वितीय आवाज से बिहार की लोक परंपराओं को संजोए रखा और उसे देश-विदेश में ख्याति दिलाई। दिलीप जायसवाल ने अपने शोक संदेश में कहा, "शारदा सिन्हा ने लोकगीतों के माध्यम से हमारे समाज की भावनाओं को अभिव्यक्त किया और लोक धरोहर को नई पहचान दी। उनकी मधुर आवाज़ ने बिहार के लोक संगीत को एक नई ऊंचाई पर पहुंचाया। उनका योगदान सदैव स्मरणीय रहेगा।"
केंद्रीय मंत्री जीतन राम मांझी से अपने शोक संदेश में कहा कि बिहार कोकिला शारदा सिन्हा जी के निधन से स्तब्ध हूं। उनकी गायन ने बिहार की संस्कृति, भोजपुरी संगीत और छठ महापर्व की महानता को अंतरराष्ट्रीय स्तर पर एक गरिमामयी पहचान दिलाई।
जदयू के प्रवक्ता नीरज कुमार ने शारदा सिन्हा के निधन पर दुख जताते हुए कहा कि स्वर कोकिला, पद्मश्री शारदा सिन्हा के निधन से पूरा बिहार मर्माहत है। उन्होंने कहा कि यह एक ऐसा संयोग है जिन्होंने छठी मइया के गीत को देश दुनिया में पहुंचाया, आज नहाय खाय के दिन हमारे बीच नहीं रहीं।
शारदा सिन्हा के निधन पर राजद प्रवक्ता मृत्युंजय तिवारी ने दुःख व्यक्त किया है । उन्होंने कहा है कि शारदा सिन्हा के निधन की खबर सुनकर स्तब्ध और मर्माहत हूं। पूरे बिहार के लोग शारदा सिन्हा के निधन की खबर से मर्माहत हैं। पूरे देश में जिस तरीके से लोक गायिकी के क्षेत्र में उन्होंने अपनी अमिट छाप छोड़ी, उसे ना कोई भूल सकता ना कोई मिटा सकता है। शारदा सिन्हा ने लोक गायिका के क्षेत्र में एक लंबी लकीर खींची। उनका निधन बिहार के लिए विशेष तौर पर अपूरणीय क्षति है । इसकी भरपाई निकट भविष्य में संभव नहीं है।