किरोड़ी लाल मीणा ने कहा है कि जनसंघ के दिनों से ही यह हमारे एजेंडे का हिस्सा रहा है। गृह मंत्री ने इसकी घोषणा की है। समान नागरिक संहिता इसलिए जरूरी है, क्योंकि मौजूदा कानूनों के तहत कुछ लोग कई बार शादी कर सकते हैं, जितने बच्चे चाहें उतने पैदा कर सकते हैं और बेटियों को अक्सर संपत्ति के अधिकार से वंचित रखा जाता है। खासकर मुस्लिम समुदाय में भेदभाव देखने को मिलता है। यूसीसी किसी जाति या धर्म के खिलाफ नहीं है। यह एक राष्ट्र, एक कानून के बारे में है। यूसीसी सबसे पहले उत्तराखंड में लाया गया है।
विधानसभा उपचुनाव के दौरान एसडीएम को थप्पड़ मारने के आरोपी नरेश मीणा की रिहाई की मांग को लेकर हो रही महापंचायत पर किरोड़ी लाल मीणा ने कहा है कि यह तो उनसे पूछना चाहिए कि महापंचायत क्यों कर रहे हैं। अब उस ओर पुलिस भी नहीं जा रही है। किसी निर्दोष को पुलिस गिरफ्तार नहीं करेगी। इसके बावजूद कुछ लोग पंचायत कर रहे हैं, मैं उनके बारे में कहना नहीं चाहता हूं कि वह राजनीति कर रहे हैं। लोकतंत्र में सभी को अधिकार है। लेकिन, पंचायत के नाम पर लोगों को गुमराह न करें।
कांग्रेस के मुस्लिम आरक्षण को लेकर किरोड़ी लाल मीणा ने कहा है कि संविधान में इसका कोई प्रावधान नहीं है। डॉ भीमराव अंबेडकर ने जो संविधान बनाया है, उसमें धर्म के आधार पर आरक्षण नहीं दिया जा सकता है। भाजपा धर्म के आधार पर आरक्षण नहीं देगी और न ही संविधान में ऐसा कोई परिवर्तन करेगी, जिससे देश के बहुसंख्यक समाज को आहत होना पड़े। बल्कि मैं उससे एक कदम आगे बढ़कर यह कहना चाहूंगा कि जो धर्म परिवर्तन कर लेता है, जैसे मैं हिंदू हूं और मैं ईसाई बन जाऊं, तो मेरा आरक्षण भी खत्म हो जाना चाहिए। मुझे आरक्षण का लाभ नहीं मिलना चाहिए। इसका सबसे बड़ा उदाहरण है बांसवाड़ा डूंगरपुर जहां आदिवासी ईसाई बन गए अब उनको आरक्षण का लाभ नहीं मिलना चाहिए, मैं इसके पक्ष में नहीं हूं। अगर धर्म के आधार पर आरक्षण दिया गया, तो देश बंट जाएगा।