उन्होंने भारत के विभिन्न राज्यों से आए भारतीय श्रमिकों से बातचीत की, उनका हालचाल पूछा और गल्फ स्पिक लेबर कैंप में नाश्ते के समय उनमें से कुछ के साथ एक मेज पर बैठे।
विदेश मंत्रालय के एक बयान के अनुसार, "प्रधानमंत्री मोदी की ओर से गल्फ स्पिक लेबर कैंप का दौरा विदेशों में भारतीय श्रमिकों के कल्याण के लिए दिए गए महत्व का प्रतीक है। पिछले कुछ वर्षों में भारत सरकार ने विदेशों में भारतीय कामगारों के कल्याण के लिए ई-माइग्रेट पोर्टल, मदद पोर्टल और उन्नत प्रवासी भारतीय बीमा योजना जैसी कई पहल की हैं।"
विदेश मंत्रालय ने कार्यक्रम की तस्वीरें पोस्ट करते हुए लिखा, " पीएम मोदी ने भारतीय कामगारों से बातचीत की और उनका हालचाल पूछा। प्रधानमंत्री का दिन का पहला कार्यक्रम यह दर्शाता है कि भारत विदेशों में भारतीय कामगारों के कल्याण को कितना महत्व देता है।"
अपनी यात्रा के दौरान प्रधानमंत्री मोदी ने शेख साद अल अब्दुल्ला स्पोर्ट्स कॉम्प्लेक्स में 'हला मोदी' सामुदायिक कार्यक्रम में भारतीय प्रवासियों के साथ बातचीत भी की।
प्रधानमंत्री मोदी का विदेशों में भारतीय कामगारों से जुड़ने का पुराना इतिहास रहा है। साल 2016 में उन्होंने सऊदी अरब के रियाद में एलएंडटी के कामगारों के आवासीय परिसर और रियाद में टाटा कंसल्टेंसी सर्विसेज के ऑल वूमेन आईटी सेंटर का दौरा किया था।
उसी साल उन्होंने कतर के दोहा में एक कामगार शिविर का दौरा किया था। साल 2015 में उन्होंने अबू धाबी में एक श्रमिक शिविर की यात्रा के दौरान प्रवासी कामगारों के कल्याण पर चिंताओं को संबोधित किया था।
कुवैत में भारतीय समुदाय सबसे बड़ा प्रवासी समुदाय है। कुवैत की कुल आबादी में भारतीय 21 प्रतिशत (1 मिलियन) हैं।